Loan Apps की अब खैर नहीं : भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा है कि आरबीआई ने केंद्र सरकार को लोन देने वाले वैद एप्स की एक सूची सौंपी है इंडियन एक्सप्रेस से जुड़े स्वा मरें द्र बारिक की एक रिपोर्ट के मुताबिक केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय लोन देने वाले अवैध एप्स पर कारवाई करने की तैयारी में है उन सारे एप्स पर कारवाई की जाएगी जो आरबीआई की वाइट लिस्ट में नहीं है
आरबीआई गवर्नर शुक्रवार 12 जनवरी को मिंट बीएफएसआई समिट एंड अवार्ड्स कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे इस दौरान उन्होंने कहा कि आरबीआई ने अपनी विनियमित संस्थाओं बैंकों और एनबीएफसी की मदद से लोन एप्स की एक सूची बनाई है उस सूची को इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय को दे दिया गया है
दास ने आगे कहा कि लोन देने वाले अवैध एप्स के साथ समस्याएं हैं जब भी कोई दिक्कत दिखती है आरबीआई उसकी सूचना सरकार को दे देती है इस मुद्दे पर आरबीआई और सरकार के संबंधित मंत्रालयों के साथ कानून प्रवर्तन एजेंसियां मिलकर काम करती हैं अवैध लोन देने वाले आपस के खिलाफ कार्रवाई के लिए इन एजेंसियों के बीच नियमित रूप से बैठकें होती हैं
पिछले कुछ सालों के दौरान डिजिटल लोन की मांग बढ़ने के कारण धोका धड़ी वाली कंपनियां भी तेजी से बढ़ी हैं 26 दिसंबर 2023 को भी केंद्र सरकार ने एक बयान जारी किया था कहा गया था कि सोशल मीडिया और ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स अवैध लोन और सट्टेबाजी वाले एप्स के विज्ञापन ना दिखाएं
इंडिया टुडे की एक रिपोर्ट के अनुसार केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने कहा था कि अब सरकार फर्जी लोन एप्स के विज्ञापनों पर कारवाही कर रही है जो कई प्लेटफॉर्म्स के जरिए फैलाए जा रहे हैं उन्होंने कहा था कि आईटी मंत्रालय ने ऑनलाइन पोर्टल्स को बता दिया है कि लोगों को गुमराह करने और उनका शोषण करने वाले एप्स के विज्ञापन ना दिखाएं
केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स सूचना प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने आगे कहा था
हमने एक एडवाइजरी जारी की है जिसमें य स्पष्ट कर दिया गया है कि कोई भी इंटरमीडियरी फर्जी लोन एप्स के विज्ञापन नहीं दिखा सकता है यह विज्ञापन भ्रामक होते हैं और इंटरनेट का इस्तेमाल करने वाले लोगों का शोषण करते हैं
राजीव चंद्रशेखर ने कहा था कि सरकारी सुनिश्चित करने के लिए कदम उठा रही है कि इंटरनेट सभी के लिए सुरक्षित और विश्वसनीय बने आईटी नियमों में पहले से ही 11 ऐसे क्षेत्र निर्दिष्ट हैं जिनमें इस तरह की किसी भी सामग्री को ऑनलाइन प्रदर्शित नहीं किया जा सकता है
मनी कंट्रोल की एक रिपोर्ट के मुताबिक इससे पहले 13 अक्टूबर 2023 को मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी ने आरबीआई से केवाईसी की प्रोसेस को और ज्यादा डिटेल बनाने के लिए कहा था
मंत्रालय के मुताबिक जिस तरह ग्राहकों को बैंक खाता खोलने के लिए विस्तृत केवाईसी से गुजरना पड़ता है
हमने आरबीआई को अपने नियामक ढांचे के भीतर कंपनियों के लिए भी विस्तृत केवाईसी डिजाइन करने की सिफारिश की है इसे नो योर डिजिटल फाइनेंस ए प के वाई डीएफए कहा जाएगा आपको यह भी बताते चलें कि देश में सैकड़ों डिजिटल लैंडिंग एप्स लोगों को एक इशारे पर झटपट लोन देते आ रहे हैं दो 4000 से लेकर 10 20 और 50000 तक कुछ एक हफ्ते के लिए तो कुछ महीने 15 दिन के लिए लेकिन आपने लालच या मजबूरी में लोन ले लिया तो समझिए आप एक साजिश बुने गए जाल में फंस गए हैं
यहां सिवाय छटपटा नहीं के आप कुछ नहीं कर सकते फिर शुरू होगी धमकी अपमान बदनामी और ब्लैकमेलिंग की कभी ना खत्म होने वाली दास्तान अवैध लन एप्स पर शिकंजा कसने की जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं जिनका जिक्र हमने किया ही लेकिन अपने लेवल पर भी सावधानी बरतनी बेहद जरूरी है आप इस पर क्या सोचते हैं हमें कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं
इस जानकारी को आपके लिए लाने में मेरी मदद की है हमारे साथी कविता वर्मा ने मेरा नाम संदीप है देखते रहिए गवर्नमेंट सर्विस बहुत-बहुत शुक्रिया